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अन्याय और अत्याचार के विरुद्ध लोकतांत्रिक तरीके से आंदोलन ज़रूरी : डॉक्टर अफ़रोज़ खान
May 4, 2018 3:32 am
जीएच कादिर
सिद्धार्थनगर । किसी भी लोकतांत्रिक देश मे जब जनता के हितों की अनदेखी की जाए और अन्याय के विरुद्ध ज़िम्मेदार लोग आँख मूँद लें तो आंदोलन ही एकमात्र सहारा है । सरकार की जनविरोधी नीतियों के खिलाफ उनका आंदोलन जारी रहेगा, चाहे 3 के बजाए 13 बार जेल जाने पड़े ।
उक्त बातें “प्रभाव इंडिया” से विशेष बातचीत में युवा आंदोलकारी डॉक्टर अफ़रोज़ खान ने कही । वह अपने गृह क्षेत्र इटवा में एक शादी समारोह में शिरकत करने के लिए आये हुए थे । बातचीत में उन्होंने कहा कि आज देश और समाज को शान्ति और समानता की बेहद ज़रूरत है । जिससे देश दुनिया भर में एक गौरवशाली मिसाल बन कर उभरे । इससे रोज़गार के अवसर भी पैदा होंगे । उन्होंने कहा कि वह संविधान बचाओ देश बचाओ के अंतर्गत दलितों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर साथ चलने में यक़ीन करते हैं । छोटे और कम उम्र के हौसला रखने वाले डॉक्टर अफ़रोज़ खान समाजवादी विचारधारा से लबरेज़ हैं । उनका कहना है कि समाज मे किसी भी प्रकार की असमानता, भेदभाव, अन्याय और अत्याचार के वह बेहद खिलाफ हैं, उसके खिलाफ वह सदैव आवाज़ उठाते रहेंगे । उन्होंने कहा कि अन्याय और अत्याचार के विरुद्ध आवाज उठाते हुए अबतक 3 बार जेल जा चुके हैं और कई बार पुलिस की लाठियाँ भी खाई हैं । मगर हौसले को टूटने नहीं दिया है । उन्होंने अभी हाल ही में बच्चियों के साथ हो रहे यौन अपराध के विरुद्ध 1000 लोगों के साथ लखनऊ में हज़रतगंज की रोड पर प्रदर्शन किया था और रेप पीड़ित बच्चियों के विरुद्ध आवाज़ बुलंद किया था । उनका कहना है कि वह अखिलेश की विकासवादी नीतियों से बेहद प्रभावित हैं लेकिन अनयाय के विरुद्ध शान्ति पूर्वक आंदोलन उनका मुख्य हथियार है । वह हमेशा शोषित सम्माज के लिए काम करते रहेंगे ।