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नोटबंदी का असर घरेलू महिलाओं में ज़्यादा दिखाई दे रहा है ।
November 12, 2016 3:27 am
जीएच कादिर
मोदी सरकार ने पिछले दो दिनों से 500 और 1000 रुपये के नोट बंद करने की ख़बर से परेशान लोगों की लंबी कतारें बैंकों के बाहर लग रही हैं । इन लोगों में एक बड़ी संख्या घरेलू महिलाओं की दिखाई दे रही है । यह वह महिलाएं हैं ,जो घर में ‘गुपचुप’ तरीके से की गई बचत को अपने बैंक अकाउंट में जमा करवाने के लिए या फिर करेंसी बदलवाने के लिए कतारों में दिखाई दे रही हैं । इनमें ज्यादातर महिलाओं ने माना कि हम महिलाओं की आदत होती है कि वे अपने घर के कामों से बचे पैसे को छोटी-छोटी बचत के रूप में इकट्टा करती रहती हैं। कभी-कभी तो जमा किए गए ये पैसे ठीक-ठाक रकम की शक्ल में इकट्ठा हो जाते हैं ।जो कभी कभी बुरे वक्त में परिवार के काम भी आते हैं । मोदी सरकार के इस फ़ैसले ने इन घरेलू और काम काजी महिलाओं को काफी परेशानी में डाल दिया है । घरेलू महिला रूही खानम का कहना है कि मैंने घर की बचत से कुछ पैसे पाँच सौ की नोट के रूप में बचाये थे , अब उन्हीं पैसों को चेंज करने में काफी दिक्कत हो रही है , वहीं शोभा पाण्डेय का कहना है कि बड़ी नोट बंदी हम लोगों को परेशानी पैदा करने वाला है । कामकाजी महिला प्रियंका श्रीवास्तव और गुलनाज़ बानों का कहना है कि हमने घर के खर्चों से यह रकम बचाई थी लेकिन यह नोट बदलवाने के लिए काफी परेशानी झेलनी पड़ रही है ।